पांच महीने पहले मदरसे में हुआ था दाखिला
पुलिस के मुताबिक, रोहान (5) अपनी मां नाजिन खातून और सात साल की बहन के साथ सरस्वती विहार स्थित शंकर बस्ती की झुग्गियों में रहते थे। एक भाई गांव में दादी के पास रहता है। पिता तालिब पांच साल से परिवार से अलग वजीराबाद में रहते हैं। मां घरों में काम करती हैं। करीब पांच महीने पहले मां ने मुस्तफाबाद के बाबू नगर के मदरसा तालीम-उल-कुरान में रोहान का दाखिला 4500 फीस में कराया था। उन्हें शुक्रवार शाम खबर मिली कि बेटे की तबीयत खराब है, जहां पहुंचने पर बेटा अचेत मिला।
पोस्टमार्टम में हुआ हत्या का खुलासा
अस्पताल ले जाया गया तो डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। नाजिन का आरोप था बेटे के पूरे शरीर पर चोटों के निशान थे, लेकिन चिकन पॉक्स से मामला संदिग्ध लग रहा था। नाजिन बेटे का शव लेकर मदरसा पहुंची और हंगामा किया। देर रात तक भीड़ भी जुट गई। रात 9:52 बजे पुलिस को खबर मिली। पुलिस ने भीड़ को समझाकर शव कब्जे में लिया और जीटीबी अस्पताल की मॉर्च्युरी भेजा। पुलिस को शुरुआत में चिकन-पॉक्स या बीमारी से मौत की आशंका थी, लेकिन पोस्टमार्टम में हत्या का खुलासा हो गया।
लीवर, पेट और फेफड़ा फटने से मौत
डीसीपी (नॉर्थ ईस्ट) डॉ. जॉय टिर्की ने बताया कि पोस्टमॉर्टम में लीवर में गंभीर चोट, पेट में खून का रिसाव और एक फेफड़े के फटे होने की बात सामने आई। ऐसा पिटाई से हुआ था। मदरसे में पड़ताल की गई तो रोहान का तीनों बच्चों से झगड़ा होने का पता चला। तीनों को पकड़ा गया। आरोपियों के परिजन बच्चों के पिटाई करने की बात को नहीं मान रहे हैं। रोहान ने फोन पर एक हफ्ते पहले तबीयत खराब होने की बात की थी। नाजिन लेने आई तो संचालक ने नहीं भेजा था। परिजनों का कहना है कि मदरसे के संचालक ने लापरवाही की है, जिसके खिलाफ भी पुलिस कार्रवाई होनी चाहिए।